उत्तर पूर्वी दिल्ली में मनोज तिवारी की नहीं चल पाई प्रत्याशी चयन में

0
402
मनोज तिवारी
उत्तर पूर्वी दिल्ली में मनोज तिवारी की नहीं चल पाई प्रत्याशी चयन में

उत्तर पूर्वी दिल्ली में मनोज तिवारी की नहीं चल पाई प्रत्याशी चयन में

* पार्टी नें नहीं मानी ज्यादातर मामलों में सिफारिश

– अश्वनी भारद्वाज –

नई दिल्ली ,लोकसभा चुनाव में हमने चुनाव से कई माह पहले हैडलाइन दी थी मनोज तिवारी सब पर भारी ,और हुआ भी वही सात में से छह सांसदों की टिकट कट गई और मनोज भैया का नंबर लग गया | किस्मत के धनी निकले क्योंकि सामने वाले प्रत्याशी को अपनी पार्टी के वर्करों का ही समर्थन नहीं मिला और मनोज भैया जीत की हैट्रिक जड़ने में कामयाब हो गए | हालांकि जीत के लिए पसीने बहाने पड़े और कड़ी मशक्कत करनी पड़ी | हमें तो उसी समय आभासहो गया था कि आने वाला समय पार्टी में इनके अनुकूल नहीं है |

विधानसभा चुनावों के लिए भाजपा नें ज्यादातर सांसदों को पूरी तवज्जो दी और उनकी राय के मुताबिक ही अधिकतर प्रत्याशी भी दिए लेकिन यदि उत्तर पूर्वी दिल्ली के प्रत्याशियों की सूची पर नजर डाली जाए तो पहली नजर में आया दस में से केवल डेढ़ प्रत्याशी इनकी पसंद से आये हैं | समझ गए न डेढ़ कैसे एक पूरी तरह से तो एक दो नेताओं की साझी पसंद से | यानी कुल 15 फीसदी चली मनोज भैया की | अब आपको थोडा सा ब्यौरा भी दे देते हैं तीनों सीटिंग जो रिपीट हुए सांसद जी उनके स्थान पर किसे चाहते थे सभी जानते हैं |

मोहन सिंह बिष्ट की जगह आये कपिल मिश्रा बड़ा नाम है सांसद कतई नहीं चाहते थे कोई दूसरा पूर्वांचली नेता उनका विकल्प बनकर उभरे | मोहन सिंह बिष्ट की सीट कैसे बदली यह भी सब जानते हैं मनोज भैया वहां किसे लडवाना चाहते थे यह भी किसी से छिपा नहीं है | लेकिन मनोज भैया गच्चा खा गए ,इसी तरह गुर्जर समाज के एक नेता जिन्हें सांसद जिला अध्यक्ष नहीं बनवा सके थे को एक गैर गुर्जर सीट से केवल इसलिए लडवाना चाहते थे कि किसी मजबूत गुर्जर नेता का नम्बर गुर्जर बाहुल्य क्षेत्र से नहीं लग सके यहाँ भी उन्हें गच्चा ही मिला इतना ही नहीं उनसे सवाल भी पूछा गया इस सीट पर जब गुर्जर है ही नहीं तो मैरिट को क्यों छेड़ा जाए जिसके चलते पंडित जी का नम्बर लग गया ,मजबूरी में सांसद महोदय को हामी भरनी पड़ी | अब तो आप समझ ही गए होंगे क्या मिला सांसद जी को उन्हें मिली एक आरक्षित सीट उसमें भी जिला अध्यक्ष मनोज त्यागी की भूमिका को नहीं नकारा जा सकता | जहां तक और बची सीटों का सवाल है कम से कम दो पर केन्द्रीय मंत्री हर्ष मल्होत्रा का सिक्का चला तो बाकी अपने बल बूते पर आ धमके और मनोज भैया देखते रह गए | आज बस इतना ही …

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here