मनीष सिसोदिया को HC से नहीं मिली राहत, अब क्या होगा अगला कदम? जानें
दिल्ली आबकारी नीति से जुड़े सीबीआई और ईडी के केस में हाई कोर्ट ने मनीष सिसोदिया की जमानत याचिका खारिज कर दी. सिसोदिया को सीबीआई ने पिछले साल फरवरी में गिरफ्तार किया था.
दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी (AAP) के वरिष्ठ नेता मनीष सिसोदिया को हाई कोर्ट से झटका लगा है. हाई कोर्ट ने दिल्ली आबकारी नीति केस से जुड़े ईडी और सीबीआई के मामले में जमानत याचिका खारिज कर दी. ऐसे में सिसोदिया अब सुप्रीम कोर्ट का रुख करेंगे. दिल्ली की मंत्री आतिशी ने इस बात की जानकारी दी. उन्होंने कहा कि हम आने वाले कुछ दिनों में ही सुप्रीम कोर्ट में एप्लीकेशन देंगे.
आतिशी ने उम्मीद जताई कि सुप्रीम कोर्ट से मनीष सिसोदिया को जरूर न्याय मिलेगा. उन्होंने कहा कि इस देश में जब जब लोकतंत्र पर हमला हुआ है, सुप्रीम कोर्ट उसे बचाने के लिए आगे आया है. आज ईडी और पीएमएलए का इस्तेमाल इस देश के विपक्ष को खत्म करने के लिए किया जा रहा है. उन्होंने कहा, “जिस तरह से सुप्रीम कोर्ट से संजय सिंह को जमानत मिली, जिस तरह से सीएम अरविंद केजरीवाल को अंतरिम जमानत मिली, हम उम्मीद करते हैं कि मनीष सिसोदिया के लिए भी न्याय मिलेगा.”
बता दें कि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली शराब नीति मामले में अंतरिम जमानत दी थी. उन्हें दो जून को सरेंडर करना होगा. अरविंद केजरीवाल से पहले आप के सांसद संजय सिंह को भी सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिल चुकी है. दोनों ही नेता इन दिनों लगातार लोकसभा चुनाव प्रचार में जुटे हैं.
ईडी और सिसोदिया के वकील ने क्या कहा?
बता दें कि केंद्रीय जांच एजेंसी ने मनीष सिसोदिया की जमानत याचिका का जमकर विरोध किया था. वकील ने कहा था कि मामले में आरोप तय करने की प्रक्रिया में देरी करने के लिए आरोपियों की तरफ से ठोस प्रयास किए जा रहे हैं.
वहीं सिसोदिया के वकील ने कहा था कि ईडी और सीबीआई अभी भी धनशोधन और भ्रष्टाचार मामले में लोगों को गिरफ्तार कर रहे हैं और मुकदमे के जल्द समापन की कोई संभावना नहीं है.
पिछले साल हुई थी गिरफ्तारी
दिल्ली शराब नीति मामले में सीबीआई ने मनीष सिसोदिया को 26 फरवरी 2023 को गिरफ्तार किया था. सीबीआई की एफआईआर के आधार पर ही बाद में ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में उन्हें 9 मार्च 2023 को गिरफ्तार किया. सिसोदिया ने 28 फरवरी 2023 को इस्तीफा दे दिया था.