सीमांत जनपद उत्तरकाशी में द्रौपदी का डांडा 2 पर्वत चोटी के पास हिमस्खलन में अभी तक 7 शव बरामद कर लिए गए हैं। डीजीपी ने बताया है कि अभी तक 8 पर्वतारोहियों का सुरक्षित रेस्क्यू किया गया है। वहीं अभी तक 25 लोग लापता बताए जा रहे हैं। बचाव और राहत कार्यों के लिए आईएएफ ने अपने 2 चीता हेलीकॉप्टर तैनात किए हैं। अन्य सभी हेलिकॉप्टरों के बेड़े को किसी भी अन्य आवश्यकता के लिए स्टैंडबाय पर रखा गया है। नेहरू पर्वतारोही संस्थान के प्रधानाचार्य अमित बिष्ट ने बताया कि निम के 40 प्रशिक्षुओं का दल द्रोपदी का डंडा-2 पर गए थे। जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी देवेंद्र पटवाल ने बताया कि फंसे लोगों को निकालने के लिए निम रेस्क्यू अभियान चला रहा है। घटनास्थल पर निम के पास दो सेटेलाईट फोन मौजूद हैं। रेस्क्यू अभियान के लिए निम के अधिकारियों के साथ लगातार समन्वय किया जा रहा है।
आपको बता दें कि, नेहरू पर्वतारोहण संस्थान, एनआईएम उत्तरकाशी के भुक्की के पास चल रहे बेसिक और एडवांस कोर्स के बच्चे आज सुबह पर्वतारोहण की ट्रेंनिंग के लिए द्रोपदी के डण्डा पहुंचे थे। जिसकी ऊंचाई करीब ऊंचाई 5006 मीटर है। जहां अचानक एवलांच आने से प्रशिक्षणार्थी फंस गए हैं। आपदा प्रबंधन अधिकारी देवेंद्र पटवाल ने बताया कि ट्रेनिंग में प्रशिक्षक व प्रशिक्षणार्थी सहित कुल 175 लोग थे। जिसमें 29 लोग एवलांच की चपेट में आये हैं। 8 लोगों का रेस्क्यू कर लिया गया है 21 लोगों का रेस्क्यू कार्य गतिमान है। रेस्क्यू के लिए हैली कि मदद ली जा रही है। साथ ही प्रशिक्षार्थियों को जल्द से जल्द सकुशल बाहर निकालने के लिए एनआईएम की टीम के साथ जिला प्रशासन, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, सेना और आईटीबीपी के जवानों द्वारा तेजी से राहत एवं बचाव कार्य चलाया जा रहा है। वहीं, रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने एवलॉन्च में दो प्रशिक्षकों की मौत पर गहरा दुख जताया है। उन्होंने ट्टीट कर शोक संतप्त परिवारों के प्रति संवेदनाएं जताई हैं। इसके अलावा उन्होंने सीएम धामी से भी बात की और घटना की जानकारी ली। उन्होंने वायु सेना को बचाव और राहत अभियान चलाने के निर्देश दिए हैं।