Judge Yashwant Verma: जस्टिस यशवंत वर्मा पर भ्रष्टाचार के आरोप, इलाहाबाद हाईकोर्ट बार एसोसिएशन का विरोध जारी
दिल्ली हाईकोर्ट के न्यायमूर्ति जस्टिस यशवंत वर्मा पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपों के खिलाफ इलाहाबाद हाईकोर्ट बार एसोसिएशन का विरोध तेज हो गया है। बार एसोसिएशन ने अपनी जनरल हाउस मीटिंग में 11 प्रस्ताव पास किए, जिसमें मांग की गई कि जस्टिस वर्मा का इलाहाबाद हाईकोर्ट में तबादला न किया जाए।
बार एसोसिएशन के अध्यक्ष सीनियर एडवोकेट अनिल तिवारी ने कहा कि इलाहाबाद हाईकोर्ट कोई “डंपिंग ग्राउंड” नहीं है। एसोसिएशन ने केंद्र सरकार और मुख्य न्यायाधीश (CJI) से जस्टिस वर्मा के खिलाफ महाभियोग की मांग की है। साथ ही, सीबीआई और ईडी को उनके खिलाफ केस दर्ज करने की अनुमति देने का प्रस्ताव भी पास किया गया है।
इसके अलावा, बार एसोसिएशन ने मांग की है कि जरूरत पड़ने पर सीजेआई की अनुमति से जस्टिस वर्मा को हिरासत में लिया जाए। एसोसिएशन ने उनके फैसलों की समीक्षा कराने और इलाहाबाद हाईकोर्ट में लंबित जजों की नियुक्ति की मांग भी उठाई है।
बार एसोसिएशन ने “अंकल जज सिंड्रोम” का मुद्दा भी उठाया, जिसके तहत किसी जज के परिवार के सदस्य उसी अदालत में वकालत नहीं कर सकते। एसोसिएशन ने जस्टिस वर्मा की सफाई को खारिज करते हुए उनके खिलाफ जांच की मांग दोहराई है।